The Maharashtra government on Monday announced 20% cut in power tariff.
मुंबई। महाराष्ट्र सरकार ने सोमवार को बिजली के बिल में 20% तक कटौती का फ़ैसला लिया है। सूत्रों के मुताबिक ये फ़ैसला एग्रीकल्चर, इंडस्ट्री और घरेलू बिजली दरों पर लागू होगा।
दिल्ली में आम आदमी पार्टी की सरकार ने बिजली की दरों में कटौती किये बिना सब्सिडी के रास्ते बिजली के बिलों में 50% तक की कटौती का ऐलान किया था जिसके बाद से महाराष्ट्र सरकार पर भी दबाव था कि वो बिजली के बिलों में कटौती करे। इसी दिशा में काम करते हुए विपक्ष और ख़ुद की पार्टी के दबाव में महाराष्ट्र कैबिनेट ने नारायण राणे कमेटी की सिफारिशों को मंजूरी दे दी है।
नारायण राणे कमीशन की सिफ़ारिशों को मंज़ूरी देने से अब घरेलू बिजली का इस्तेमाल करने वालों को 100 यूनिट के लिए पहले 4 रुपये 16 पैसे देने पड़ते थे और अब उन्हें 100 यूनिट के लिए 3 रुपये 36 पैसे देने पड़ेंगे। वहीं 100 से 300 यूनिट के लिए पहले 7 रुपये 42 पैसे देने पड़ते थे, लेकिन अब 6 रुपये 5 पैसे देने पड़ेंगे। कैबिनेट में अपनी तरफ़ से मंज़ूरी दे दी है लेकिन MERC की इजाजत के बाद ही इस फैसले को लागू किया जा सकेगा।
आपको बता दें कि कांग्रेस पार्टी की ओर से सांसद संजय निरुपम ने बिजली के बिलों में कटौती को लेकर आवाज़ उठाई थी जिसके बाद उनके साथ कांग्रेस सांसद प्रिया दत्त ने भी अपनी ही सरकार के ख़िलाफ़ मोर्चा खोल दिया था और प्रदर्शन भी किया था।
संजय निरुपम ने घोषणा कर रखी है कि अगर 23 लाख उपभोक्ताओं को राहत नहीं दी गई तो वो कांदिवली में रिलायंस इंफ्रा के दफ़्तर के सामने 23 जनवरी को भूख हड़ताल पर बैठेंगे।
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