RJD Congress alliance final in Bihar
नई दिल्ली। ऐसा लग रहा है जैसे लालू का आक्रामक रूख काम कर गया। लालू अभी पिछले सप्ताह ही दिल्ली से पटना यह कहते हुए कूच कर गए थे कि "गठबंधन का नहीं लठबंधन का समय है।" यहाँ लालू की तरफ कांग्रेस के लिए इशारा साफ़ था कि अगर आप गठबंधन के लिए तैयार हैं तो ज़ल्दी घोषणा कीजिये वरना चुनावी मैदान में भिड़ने के लिए तैयार हो जाईए। लगता है लालू कि इस घुड़की पर कांग्रेस गंभीर हो गयी और बिहार में राजद और कांग्रेस के चुनावी गठबंधन की संभावना बढ़ गई।
हालांकि अभी अंतिम फैसला नहीं हुआ है लेकिन आरजेडी अब कांग्रेस को 11 की जगह 12 सीट देने पर राजी हो गई है। लालू एक सीट एनसीपी यानि तारिक अनवर के लिए भी छोड़ने को तैयार हैं। सूत्रों के मुताबिक कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी बिहार में राजद से गठबंधन के खिलाफ थे, लेकिन पार्टी के सामने राजद के साथ जाने के अलावा कोई और चारा बचा नहीं है। सियासी गलियारों में तो चर्चा है कि बिहार में कांग्रेस-राजद के बीच गठबंधन अब महज औपचारिकता है।
वैसे सस्पेंस पूरी तरह खत्म नहीं हुआ है। मंगलवार को चुनावी रणनीति पर दिल्ली में कांग्रेस नेताओं ने बैठक थी और खबरजोन के सूत्रों के मुताबिक कुछ सीटों पर पेंच फंसा है। दोपहर को लालू यादव ने भी साफ कर दिया कि बातचीत जारी है, लेकिन फैसला नहीं हुआ है। कांग्रेस मधुबनी और मोतिहारी की सीटें भी चाहती है, जिस पर लालू तैयार नहीं हैं। दरअसल, शुरुआत में ही समझौते में अड़चन देखकर लालू ने कांग्रेस के लिए 11 सीटें छोड़ने का ऐलान कर बाकी पर प्रचार शुरू कर दिया था हालांकि अब ये भी खबर है कि वो कांग्रेस के लिए 12 सीटें छोड़ने के लिए राजी हो सकते हैं इस आंकड़े में NCP के लिए छोड़ी गई एक सीट शामिल नहीं है, यहाँ मतलब साफ़ है कि लालू गठबंधन में कांग्रेस और NCP के लिए कुल 13 सीट छोड़ेंगे और राजद 27 सीटों पर चुनाव लड़ेगी।
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