Uttar Pradesh government has sanctioned an amount of Rs 200 crore for construction of an International airport in Kushinagar to promote Buddhist tourism.
संजीव द्विवेदी। कुशीनगर। उत्तर प्रदेश सरकार ने कुशीनगर में अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा के निर्माण के लिए 200 करोड़ रुपये आवंटित किया है। बौद्ध पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए कुशीनगर में सालों से इंटरनेशनल एयरपोर्ट प्रस्तावित है लेकिन शासन की अनदेखी की वजह से यह एयरपोर्ट अब तक घरेलू उड़ानों के लिए भी नहीं खोला जा सका है।
ज़िलाधिकारी लोकेश एम ने बुधवार को यहां बताया कि सरकार ने 199.41 करोड़ रुपये कुशीनगर में अंतर्राष्ट्रीय एयरपोर्ट के निर्माण के लिए आवंटित किया हैं और जल्दी ही निर्माण कार्य प्रारंभ कर दिया जाएगा।
समाचार एजेंसी UNI के मुताबिक डीएम का ये भी कहना है कि कुशीनर को इंटरनेशनल एयरपोर्ट में परिवर्तित करने के लिए रन-वे का एक्सटेंशन बनाने की दिशा में कार्य पहले ही शुरू हो चुका है और राज्य सरकार से अनुमति मिलने के बाद से ही ज़मीन के अधिग्रहण का काम भी शुरू हो चुका है।
बौद्ध सर्किट में शामिल कुशीनगर में इंटरनेशनल एयरपोर्ट बनाने की प्रक्रिया में पहले रन-वे बनाया जाएगा, फिर टर्मिनल का निर्माण होगा। फिलहाल कुशीनगर एयरपोर्ट पर एक रन-वे है, जो सालों से वीरान पड़ा हुआ है। 145 मीटर लंबा यह रन-वे छोटे विमानों के उतरने के लिये पर्याप्त है लेकिन बड़े विमानों के लिए एयर स्ट्रिप का एक्सटेंशन किया जा रहा है।
पहले से 97 एकड़ में बने एयरपोर्ट को अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा बनाने के लिए 180 करोड़ रुपये में 550 एकड़ ज़मीन अधिग्रहित की है। 354 करोड़ रुपये के इस प्रोजेक्ट को राज्य सरकार और एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया साथ मिलकर बनाएंगी। पहले राज्य सरकार इस प्रोजेक्ट को पीपीपी मॉडल के तहत पूरा करना चाह रही थी, जिसके लिए सिविल एविएशन मिनिस्ट्री से हरी झंडी भी मिल गई लेकिन प्राइवेट प्लेयर्स ने कुशीनगर अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा में दिलचस्पी नहीं दिखाई और राज्य सरकार भी उन्हें इसके व्यवसायिक महत्ता को समझा पाने में असमर्थ रही, जिसके बाद एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया के साथ मिलकर इस प्रोजेक्ट को पूरा करने का निर्णय लिया गया।
इसकी संख्या बढ़ाई जाएगी। निर्माण एजेंसी को एनओसी की कार्यवाही प्रारंभ करने के निर्देश दिए गए हैं।
बुद्धिस्ट सर्किट का महत्वपूर्ण स्थल होने के कारण पर्यटन विभाग ने कुशीनगर में पीपीपी मॉडल पर इंटरनेशनल एयरपोर्ट के निर्माण का काम शुरू किया था। शासन ने छह माह पूर्व इसे बनाने की जिम्मेदारी नागरिक उड्डयन विभाग को दे दी। एयरपोर्ट निर्माण के लिए 569 हेक्टेयर जमीन उपलब्ध है।
पहले चरण में एयरपोर्ट का निर्माण, सुदृढ़ीकरण एवं विस्तार का काम होगा। सचिव नागरिक उड्डयन एसके रघुवंशी ने बताया कि मेसर्स राइट्स लिमिटेड ने टर्मिनल बिल्डिंग को छोड़कर अन्य कामों के लिए 211 करोड़ 97 लाख 21 हजार रुपये लागत का एस्टीमेट तैयार किया था।