The cities/towns where air quality is ‘moderate’ or below, only green crackers be sold.
नई दिल्ली: वायु प्रदूषण बढ़ने की आशंका को देखते हुए समूचे एनसीआर में पटाखों की बिक्री पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। नैशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (NGT) ने एक आदेश में कहा कि जिन शहरों में एम्बिएंट एयर क्वालिटी मॉडरेट है, वहां सिर्फ ग्रीन पटाखे ही बेचे जा सकते हैं। NGT के इस आदेश के साथ ही गुड़गांव, नोएडा, गाजियाबाद, फरीदाबद में भी पटाखों की बिक्री पर प्रतिबंध लागू हो गया है। हरियाणा सरकार ने दो घंटे पटाखे जलाने की छूट दी थी जिसके बाद से कन्फ्यूजन की स्थिति थी कि यह छूट गुड़गांव में मिलेगी या नहीं।
नेशनल ग्रीन ट्रब्यूनल (NGT) के आदेश से दिल्ली (Delhi) ही नहीं देशभर के पटाखा (Firecrackers) कारोबारियों को बड़ा झटका लगा है। एनजीटी के अनुसार सिर्फ दिल्ली-एनसीआर (Delhi-NCR) ही नहीं देशभर के उन सभी शहरों में पटाखे बैन रहेंगे, जहां प्रदूषण का स्तर अधिक होगा।
इन शहरों में दिवाली ही नहीं क्रिसमस और नए साल (New Year) पर भी पटाखे नहीं जलेंगे। यहां तक की शादी-ब्याह के दौरान भी पटाखे जलाने की मनाही रहेगी। एनजीटी के मुताबिक किसी भी शहर में पटाखे बैन करने का यह आधार रहेगा। एयर पॉल्युशन पर लगाम लगाने के लिए NGT ने 30 नवंबर तक पटाखों पर बैन लगा दिया है। दिल्ली-एनसीआर ही नहीं देशभर में पटाखे बैन करने के लिए एनजीटी ने आधार तय कर दिया है। जिन शहरों की एयर क्वालिटी खराब है, वहां पटाखे पूरी तरह से प्रतिबंधित रहेंगे। साथ ही जिन शहरों की एयर क्वालिटी सामान्य या बेहतर है, वहां सुप्रीम कोर्ट के दिशानिर्देश के मुताबिक तय समय में ग्रीन पटाखे जलाए जा सकते हैं।
मौसम वैज्ञानियों की मानें तो 0 और 50 के बीच एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआई) को 'अच्छा', 51 और 100 के बीच 'संतोषजनक', 101 और 200 के बीच 'मध्यम', 201 और 300 के बीच 'खराब', 301 और 400 के बीच 'बेहद खराब' और 401 से 500 के बीच 'गंभीर' माना जाता है।